होली पर सरकार ने किसानो को दिया बड़ा तोहफा गेहूं की खरीद पर 150 रुपए प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी जानिए MSP रेट
होली पर सरकार ने किसानो को दिया बड़ा तोहफा गेहूं की खरीद पर 150 रुपए प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी जानिए MSP रेट राज्य सरकार द्वारा किसानों से समर्थन मूल्य पर गेहूं की खरीदी आरंभ हो गई है। प्रदेश के किसानों से इस बार उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने गेहूं की सरकारी खरीदी के लिए समर्थन मूल्य 2275 रुपए प्रति क्विंटल तय किया है। बता दें कि यह न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पिछले साल के मुकाबले में पूरा ₹150 ज्यादा है, यानी कि सरकार ने इस वर्ष गेहूं की खरीद पर ₹150 प्रति क्विंटल की वृद्धि की है।
वहीं किसानों से रवि मार्केटिंग सीजन वर्ष 2024-25 के लिए रवि फसलों की एमएसपी रेट पर खरीदी विभिन्न राज्य सरकारों द्वारा आरंभ हो चुकी है जिसमें उत्तर प्रदेश में योगी सरकार द्वारा समर्थन मूल्य पर गेहूं की खरीदी प्रक्रिया 1 मार्च 2024 से शुरू हो गई है जो की 15 जून 2024 तक चलने वाली है।
सीजन 2024-25 में सरकार करेगी अब 2275 रुपए प्रति क्विंटल पर गेहूं की खरीदी
रवि मार्केटिंग सीजन 2024-25 में एमएसपी रेट पर फसलों की खरीदी शुरू हो गई है। वहीं उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने किसानों से न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) 2275 रुपए प्रति क्विंटल पर गेहूं को खरीदना शुरू कर दिया है। बता दें योगी सरकार ने कर्मचारियों व अधिकारियों को यह निर्देश दिए हैं कि गेहूं की खरीदी के दौरान किसानों को किसी भी प्रकार की कोई समस्या नहीं होनी चाहिए।
MSP गेहूं की कीमत
उत्तर प्रदेश राज्य के किसानों की मांग पर प्रदेश की योगी सरकार ने किसानों को बड़ा तोहफा देते हुए न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर गेहूं की खरीद में ₹150 प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी की है। बता दें समर्थन मूल्य पर गेहूं की खरीद की यदि पिछले वर्ष की तुलना की जाए तो उसमें इस साल पूरे 150 रुपए प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी राज्य सरकार द्वारा की गई है।
होली पर सरकार ने किसानो को दिया बड़ा तोहफा गेहूं की खरीद पर 150 रुपए प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी जानिए MSP रेट
सरकार द्वारा समर्थन मूल्य पर गेहूं की खरीदी के लिए संपूर्ण राज्य में 6,500 क्रय केंद्र स्थापित किए गए हैं। वहीं गेहूं की खरीद के दौरान किसानों को सुविधा मिल सके इसके लिए टोल फ्री नंबर 180018001500 जारी किया गया है। इसके अलावा यदि किसानों को और भी कोई बड़ी समस्या होती है तो वह जिला खाद्य विपणन अधिकारी या तहसील के क्षेत्रीय विपणन अधिकारी आदि के पास जाकर अपनी समस्या का समाधान आसानी से करवा सकते हैं।
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